बुध ग्रह

बुध ग्रह 



बुध ग्रह सूर्य का निकटतम पड़ोसी है | यह सभी ग्रहों में सबसे छोटा है, और सबसे तेज सूर्य का चक्कर काटता है | हम बुध जैसे 18 ग्रहों को पृथ्वी में समाविष्ट कर सकते है | बुध पर वायुमंडल नहीं के बराबर है, सूर्य के वृहत गुरुत्वाकर्षण ने बुध के समूचे वातावरण को करीब-करीब खिंच लिया है, नतीजतन सतह पर तापमान का उतार-चढ़ाव सभी ग्रहों या उपग्रहों में सर्वाधिक है | सूर्य के सामने पड़ने वाले गोलार्ध में तापमान 427 डिग्री सेल्सियस तक चढ़ जाता है, इतना ताप टीन को गलाने के लिए काफी है | इसके विपरीत अंधकार में डूबे ग्रह के गोलार्ध में तापमान -183 डिग्री सेल्सियस तक गिर जाता है | वायुमंडल का अभाव और सतह पर खड्डों की भरमार, अतीत में बुध पर हुए उल्कापातों के सीधे हमलों का जीवंत प्रमाण है। बुध की बाह्य रुपरेखा बिलकुल हमारे चाँद जैसी है | सूर्य से 5.8 करोड़ किमी की औसत दूरी पर अपनी अंडाकार कक्षा में रहते हुए यह हर 88 दिनों में सूर्य की परिक्रमा करता है | ग्रह की 58.7 दिनों की घूर्णन अवधि उसकी परिक्रमण अवधि की दो तिहाई है, यानि ग्रह अपनी प्रत्येक सौर प्रदक्षिणा के साथ-साथ अपनी धूरी के इर्दगिर्द डेढ़ चक्कर लगा लेता है, यहीं कारण है कि बुध का एक दिन उसके एक वर्ष से लंबा है |


सूर्योदय व सूर्यास्त
बुध का घूर्णन और उसकी कक्षा का अंडाकार रूप  बुध के सूर्योदय व सूर्यास्त को बड़ा विचित्र बनाते है | सूर्योदय में, सूर्य अल्प समय के लिए उदित होता है, फिर अस्त होता है, और दोबारा फिर से उदित होकर आसमान के दूसरे छोर की ओर चला जाता है | इसी तरह सूर्यास्त में, अल्प समय के लिए अस्त होता है, उदित होता है, और फिर अस्त हो जाता है |

अंवेषण
बुध के लिए रवाना हुआ प्रथम अंतरिक्ष यान 1974 का नासा का मेरिनर-10 था । यह यान बुध के आधे हिस्से मात्र की तस्वीरें ले पाने में समर्थ था। साथ ही यह भविष्य की उड़ानों के लिए एक सीख थी | फिर 2004 में नासा ने बुध के लिए अपने नवीनतम मैसेंजर अंतरिक्ष यान मिशन का शुभारंभ किया | अब तक यह अंतरिक्ष यान बुध की कई उड़ान पूरी कर चुका है |  मैसेंजर यान ने 2011 में बुध की निकटतम कक्षा प्राप्त की। जहां से वह ग्रह का विस्तृत अध्ययन करने में समर्थ है |